31 जुलाई को मेवात के नूंह में हुई हिंसा (Nuh Violence) के लिए पहले से तैयारी की गई थी, ब्रजमंडल यात्रा पर हमले का कारण उसमें गो-रक्षकों की सहभागिता थी। गिरफ्तार किए गए दंगाइयों ने पुलिस से पूछताछ में यह खुलासा किया है कि वह गो-रक्षकों पर हमले की तैयारी पहले से कर रहे थे और नासिर-जुनैद का बदला हिन्दुओं को मारकर लेना चाहते थे।
हरियाणा पुलिस की पूछताछ में 4 आरोपियों ने कबूल किया है कि मोनू मानेसर के ब्रजमंडल यात्रा में आने की खबर मिलते ही उन्होंने 50 लोगों को और मिलाकर हिंसा की तैयारी की थी। यह भी सामने आया है कि हमला करने वाले दंगाई नूंह के अलावा राजस्थान के भरतपुर से आए थे।
इन्होने यात्रा से पहले अलग-अलग व्हाट्सएप ग्रुप भी बनाए थे और उसमें ही हिंसा की पूरी प्लानिंग कर रहे रहे थे। हरियाणा पुलिस द्वारा पकड़े गए चारों दंगाइयों का नाम सलीम, साबिर, अशफाक और अल्ताफ हैं। यह भरतपुर के सावलेर और घीसेड़ा गाँवों के रहने वाले हैं। पकड़े गए दंगाइयों में से सलीम साइबर ठगी करता था जबकि अल्ताफ गो-तस्कर है। एक रिपोर्ट के मुताबिक़, कई दंगाई नासिर और जुनैद के गाँव से भी आए थे।
‘द पैम्फलेट’ ने इस बात को पहले भी सामने रखा था कि नूंह में हो रही हिंसा में सिर्फ नूंह के ही कट्टरपंथी शामिल नहीं थे बल्कि मेवात की राजस्थान से लगी सीमाओं से भी वहां पर दंगाई पहुंचे थे।
मेवात दंगा: राजस्थान से गाड़ियां भरकर आए थे दंगाई, सायबर अपराधियों ने बनाया पुलिसकर्मियों को निशाना
इन सभी दंगाइयों ने बताया कि नासिर और जुनैद उनके साथी थे इसीलिए उन्होंने यात्रा में हिन्दुओं पर हमला करने की प्लानिंग की थी। हरियाणा पुलिस ने आगे की जांच के लिए अब राजस्थान पुलिस से संपर्क साधा है। गौरतलब है कि नूंह में जहाँ मुस्लिम भीड़ ने बृजमंडल यात्रा पर हमला किया था वहां से राजस्थान की सीमा बहुत निकट है, उत्तर प्रदेश के मथुरा का इलाका भी यहाँ से ज्यादा दूर नहीं है। मथुरा के कोसी में वर्तमान में कई आरोपियों के छुपे होने की संभावना जताई जा रही है।
इन सभी दंगाइयों का मुख्य निशाना गो-रक्षक मोनू मानेसर और उसके समूह के सदस्य थे। पकड़े गए सभी दंगाइयों ने यह बात स्वीकार की है कि उन्होंने यात्रा की गाड़ियों में आग लगाई और हिंसा फैलाई। पुलिस अब इन आरोपियों से पूछताछ करके बाकी को गिरफ्तार करने का प्रयास कर रही है।
नूंह में हिंसा करने वाले अधिकाँश आरोपी 25 साल से कम की आयु के हैं। इन्होने हिन्दुओं पर हमला करने के अतिरिक्त साइबर थाने पर भी हमला करने की योजना पहले ही तैयार कर ली थी। इसीलिए जिस दौरान यात्रा पर नूंह में हमला हुआ उसी समय एक समूह थाने पर हमला करके वहां रिकॉर्ड जलाने चला गया।
यह भी पढ़ें: मेवात दंगा: हिन्दुओं के खिलाफ आग उगलने वाले एहसान मेवाती का YouTube चैनल ‘समतल’, खट्टर सरकार की कार्रवाई