The PamphletThe Pamphlet
  • राजनीति
  • दुनिया
  • आर्थिकी
  • विमर्श
  • राष्ट्रीय
  • सांस्कृतिक
  • मीडिया पंचनामा
  • खेल एवं मनोरंजन
What's Hot

बीआरएस ने लोकतंत्र को बनाया लूटतंत्र; तेलंगाना में प्रधानमंत्री मोदी का विपक्ष पर वार

October 3, 2023

न्यूज़क्लिक पर प्रशासनिक कार्रवाई से क्यों बौखलाया विपक्ष

October 3, 2023

हिंदुओं को बांटकर देश को बांटना चाहती है कांग्रेस; जातिगत सर्वे पर प्रधानमंत्री मोदी का पलटवार

October 3, 2023
Facebook X (Twitter) Instagram
The PamphletThe Pamphlet
  • लोकप्रिय
  • वीडियो
  • नवीनतम
Facebook X (Twitter) Instagram
ENGLISH
  • राजनीति
  • दुनिया
  • आर्थिकी
  • विमर्श
  • राष्ट्रीय
  • सांस्कृतिक
  • मीडिया पंचनामा
  • खेल एवं मनोरंजन
The PamphletThe Pamphlet
English
Home » करोड़ों वेबसाइट ब्लॉक करने जैसे कदमों से फ्री मीडिया को दबा रहा तालिबान
दुनिया

करोड़ों वेबसाइट ब्लॉक करने जैसे कदमों से फ्री मीडिया को दबा रहा तालिबान

Mudit AgrawalBy Mudit AgrawalAugust 26, 2022No Comments3 Mins Read
Facebook Twitter LinkedIn Tumblr WhatsApp Telegram Email
Taliban Website Ban तालिबान
Share
Facebook Twitter LinkedIn Email

तालिबान के नेतृत्व वाली अफगानिस्तान की अंतरिम सरकार के संचार मंत्री नजीबुल्लाह हक्कानी ने गुरुवार को कहा कि तालिबान ने देश में सत्ता संभालने के बाद से साल भर में अनैतिक सामग्री को प्रदर्शित करने वाली 23 मिलियन से अधिक वेबसाइटों को ब्लॉक कर दिया है।

टोलोन्यूज ने मंत्री नजीबुल्लाह हक्कानी के हवाले से कहा, “हमने 23.4 मिलियन वेबसाइटों को ब्लॉक कर दिया है। पर वे हर बार अपना नाम बदल ले रहे हैं। इसलिए, जैसे ही हम एक वेबसाइट को ब्लॉक करते हैं तो वैसी ही दूसरी वेबसाइट सक्रिय हो जाती है।”

फेसबुक पर सहयोग न करने का लगाया आरोप

तालिबान की अंतरिम सरकार में उप संचार मंत्री, अहमद मसूद लतीफ राय ने सम्मेलन में इंटरनेट सामग्री मॉडरेशन को लेकर तालिबान अधिकारियों के साथ सहयोग न करने के लिए फेसबुक की आलोचना की। सोशल मीडिया के सन्दर्भ में फेसबुक की वैश्विक नीतियाँ तालिबान की घरेलू नीतियों से बहुत अधिक उदार हैं जो तालिबान को रास नहीं आ रहा है।

अमेरिका समर्थित पूर्ववर्ती सरकार के पतन और देश से अमेरिकी सैनिकों की वापसी के बाद, तालिबान के नेतृत्व में एक अंतरिम अफगान सरकार पिछले साल 15 अगस्त को सत्ता में आई थी। इस एक साल में अफ़ग़ानिस्तान में काफी कुछ बदल गया है, जिसमें लोगों की अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता खासा तौर पर कम हो गयी है।

अफ़ग़ानिस्तान में सभी तरह की पत्रकारिता संकट में

पिछले साल अगस्त के मध्य में अफगानिस्तान पर तालिबानी कब्जे के बाद से, तालिबान ने अफगान मीडिया आउटलेट्स और उनके कामकाज के अधिकारों को वापस ले लिया था।

UNAMA के अनुसार, अफ़ग़ानिस्तान के मीडिया परिदृश्य में बहुत बड़े बदलाव हुए हैं। आधे से अधिक फ्री मीडिया को बंद कर दिया गया है। कई चैनलों और वेबसाइटों पर प्रतिबंध लगा दिए गए हैं। जो मीडिया हाउस चल रहे हैं वहाँ काम करने के तौर तरीकों पर बहुत से कार्य प्रतिबंध लगे हुए हैं। पत्रकारों के खिलाफ हिंसा और धमकियाँ सामान्य बात बन चुकी है।

इस साल मई में, महिलाओं द्वारा किए जा रहे एक प्रदर्शन की रिपोर्ट करने पर पत्रकार रोमन करीमी और उनके ड्राइवर को तालिबान ने हिरासत में ले लिया था और प्रताड़ित किया था।

अफ़ग़ानिस्तान के 45 फीसदी पत्रकारों ने दिया इस्तीफ़ा

तालिबान के सत्ता में आने के बाद से अब तक 45 फीसदी से ज्यादा पत्रकारों ने इस्तीफा दे दिया है। अफगानिस्तान में मीडिया के खिलाफ लगातार बढ़ते प्रतिबंधों और हिंसक घटनाओं को लेकर संयुक्त राष्ट्र (यूएन) और कमेटी टू प्रोटेक्ट जर्नलिस्ट्स (सीपीजे) ने वैश्विक स्तर पर व्यापक आलोचना की है, और आतंकी संगठन से मांग की है कि वह स्थानीय पत्रकारों को हिरासत में लेना, धमकियाँदेना औरपरेशान करना बंद करे और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता को जारी रखे।

पिछले साल अगस्त में सत्ता अधिग्रहण के बाद तालिबान द्वारा आयोजित पहली समाचार कॉन्फ्रेंस में उसने महिला अधिकार जारी रखने, मीडिया की स्वतंत्रता और सरकारी अधिकारियों को माफ करने का वादा किया था। फिर भी, सामाजिक कार्यकर्ताओं, पूर्व सरकारी कर्मचारियों और पत्रकारों सहित अन्य लोगों को तालिबान द्वारा पुराने बदले लेने का सामना करना पड़ रहा है।

तालिबान के सत्ता में आने के बाद से अफ़ग़ानिस्तान आर्थिक संकट और भोजन की कमी का सामना तो कर ही रहा है, पर मानवाधिकारों और व्यक्तिगत स्वतंत्रता के सभी पैमाने भी ध्वस्त हो गए हैं।

Author

  • Mudit Agrawal
    Mudit Agrawal

    View all posts

Share. Facebook Twitter LinkedIn Email
Mudit Agrawal

Related Posts

बीआरएस ने लोकतंत्र को बनाया लूटतंत्र; तेलंगाना में प्रधानमंत्री मोदी का विपक्ष पर वार

October 3, 2023

न्यूज़क्लिक पर प्रशासनिक कार्रवाई से क्यों बौखलाया विपक्ष

October 3, 2023

हिंदुओं को बांटकर देश को बांटना चाहती है कांग्रेस; जातिगत सर्वे पर प्रधानमंत्री मोदी का पलटवार

October 3, 2023

मनोज झा का समाजवाद प्रेम हिंदू विरोधी एजेंडे का ही हिस्सा है

October 3, 2023

अभिसार शर्मा समेत न्यूजक्लिक के कई पत्रकारों के अड्डों पर दिल्ली पुलिस का छापा, 100 से अधिक पुलिसकर्मी और अर्धसैनिक बल हैं तैनात

October 3, 2023

बिहार: जाति आधारित गणना की रिपोर्ट जारी, शुरू हुई ‘हिस्सेदारी’ की बहस

October 2, 2023
Add A Comment

Leave A Reply Cancel Reply

Don't Miss
प्रमुख खबर

बीआरएस ने लोकतंत्र को बनाया लूटतंत्र; तेलंगाना में प्रधानमंत्री मोदी का विपक्ष पर वार

October 3, 20232 Views

तेलंगाना में जनसभा को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि बीआरएस ने लोकतंत्र को लूटतंत्र बना दिया है।

न्यूज़क्लिक पर प्रशासनिक कार्रवाई से क्यों बौखलाया विपक्ष

October 3, 2023

हिंदुओं को बांटकर देश को बांटना चाहती है कांग्रेस; जातिगत सर्वे पर प्रधानमंत्री मोदी का पलटवार

October 3, 2023

मनोज झा का समाजवाद प्रेम हिंदू विरोधी एजेंडे का ही हिस्सा है

October 3, 2023
Our Picks

बीआरएस ने लोकतंत्र को बनाया लूटतंत्र; तेलंगाना में प्रधानमंत्री मोदी का विपक्ष पर वार

October 3, 2023

हिंदुओं को बांटकर देश को बांटना चाहती है कांग्रेस; जातिगत सर्वे पर प्रधानमंत्री मोदी का पलटवार

October 3, 2023

मनोज झा का समाजवाद प्रेम हिंदू विरोधी एजेंडे का ही हिस्सा है

October 3, 2023

बिहार: जाति आधारित गणना की रिपोर्ट जारी, शुरू हुई ‘हिस्सेदारी’ की बहस

October 2, 2023
Stay In Touch
  • Facebook
  • Twitter
  • Instagram
  • YouTube

हमसे सम्पर्क करें:
contact@thepamphlet.in

Facebook X (Twitter) Instagram YouTube
  • About Us
  • Contact Us
  • Terms & Conditions
  • Privacy Policy
  • लोकप्रिय
  • नवीनतम
  • वीडियो
  • विमर्श
  • राजनीति
  • मीडिया पंचनामा
  • साहित्य
  • आर्थिकी
  • घुमक्कड़ी
  • दुनिया
  • विविध
  • व्यंग्य
© कॉपीराइट 2022-23 द पैम्फ़लेट । सभी अधिकार सुरक्षित हैं। Developed By North Rose Technologies

Type above and press Enter to search. Press Esc to cancel.