तालिबान शासित अफगानिस्तान में लड़कियों की शिक्षा के प्रतिबन्ध को बनाए रखने को लेकर तालिबान का एक नया बयान सामने आया है।
तालिबान के उच्च शिक्षा मंत्री और कट्टरपंथी मौलवी निदा मोहम्मद नदीम एक वीडियो में कहते हुए नजर आ रहे हैं कि लड़कियों को शिक्षित करने का कोई सवाल ही पैदा नहीं होता है।
नदीम आगे कहते हैं कि भले ही लड़कियों की शिक्षा पर प्रतिबन्ध को लेकर उन पर परमाणु हथियारों से हमला कर दिया जाए लेकिन वे अल्लाह की इच्छा के विरुद्ध कार्य नहीं करेंगे।
तालिबान के उच्च शिक्षा मंत्री का यह भी कहना है कि वे यदि सभ्यता, प्रगति और समानता ही चाहते थे तो फिर इतने सालों तक लड़ते ही नहीं
इससे पहले भी कट्टरपंथी मौलवी निदा मोहम्मद नदीम ने लड़कियों की शिक्षा पर प्रतिबन्ध लगाने के अपने फैसले पर स्पष्ट रूप से कहा था कि इस्लाम शिक्षा के बहाने महिलाओं को व्यभिचार में संलग्न होने की अनुमति नहीं देता है और उनका यह फैसला मोहम्मद साहब के फरमान के ही अनुरूप है।
लड़कियों की शिक्षा पर प्रतिबन्ध लगने के बाद अफगानिस्तान में कॉलेज और विश्वविद्यालय के कई छात्रावास खाली हो गए हैं। स्थिति यहाँ तक बिगड़ चुकी है कि तालिबानी लड़ाके जबरन छात्रावास में घुसकर लड़कियों के सामान को बाहर फेंक रहे हैं।