The PamphletThe Pamphlet
  • राजनीति
  • दुनिया
  • आर्थिकी
  • विमर्श
  • राष्ट्रीय
  • सांस्कृतिक
  • मीडिया पंचनामा
  • खेल एवं मनोरंजन
What's Hot

भारत के मैन्युफैक्चरिंग और उपभोक्ता बाजार में बढ़ी जापान की पहुँच, आर्थिक सहयोग में आई तेजी

December 9, 2023

पश्चिम बंगाल : मुर्शिदाबाद अस्पताल में 24 घंटे में 9 नवजात शिशुओं की मौत, जांच के आदेश

December 8, 2023

AI Summit 2023: प्रधानमंत्री मोदी ने किया ग्लोबल पार्टनर्स को आमंत्रित, एआई के सकारात्मक प्रभाव पर दिया जोर

December 8, 2023
Facebook X (Twitter) Instagram
The PamphletThe Pamphlet
  • लोकप्रिय
  • वीडियो
  • नवीनतम
Facebook X (Twitter) Instagram
ENGLISH
  • राजनीति
  • दुनिया
  • आर्थिकी
  • विमर्श
  • राष्ट्रीय
  • सांस्कृतिक
  • मीडिया पंचनामा
  • खेल एवं मनोरंजन
The PamphletThe Pamphlet
English
Home » औपनिवेशिकता से मुक्ति का आह्वान है ‘परिवारजन’ का संबोधन
प्रमुख खबर

औपनिवेशिकता से मुक्ति का आह्वान है ‘परिवारजन’ का संबोधन

प्रधानमंत्री मोदी ने स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर देशवासियों को 'परिवारजन' बनाकर औपनिवेशिकता से मुक्ति का आह्वान किया है।
Pratibha SharmaBy Pratibha SharmaAugust 15, 2023No Comments3 Mins Read
Facebook Twitter LinkedIn Tumblr WhatsApp Telegram Email
PM Modi hoist the flag from Red Fort
प्रधानमंत्री मोदी द्वारा ध्वजारोहण करने पर विपक्ष को समस्या है
Share
Facebook Twitter LinkedIn Email

स्वतंत्रता दिवस के पावन अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लाल किले की प्राचीर से परिवारजनों को संबोंधित करते हुए परिवारवाद की बात की। अपने संबोधन में प्रधानमंत्री ने देशवासियों को परिवारजन बनाकर उस गरीब और अमीर परिवार के बीच का अंतर समाप्त कर दिया जिसे राजनीति ने हमेशा अवसर के रूप में ही देखा है।

हालांकि राजनीति से इतर पारिवारिक संस्था को संस्कृति और सभ्यता के मूल के रूप में देखा जाना चाहिए। सामाजिक अंतर मिटा कर देश को पारिवारिक संस्था में पिरोना राजनीतिक कदम से अधिक अपनी जड़ों की ओर लौटना या कहें कि औपनिविशिकेता से मुक्ति की ओर बढ़ा हुआ एक कदम है। विश्व में भारत की विरासत पर चर्चा हो तो उसमें पारिवारिक संस्था हमेशा एक योगदान के रूप में उपस्थित है और रहेगी भी। फिर भी परिवार को इसके मूल स्वरूप में देखने की आवश्यकता है। उसी स्वरूप में जिसको औपनिवेशिक काल ने भंग कर दिया है।

Powerful words of PM Narendra Modi on the occasion of #IndependenceDay pic.twitter.com/IQD2vMZPdv

— The Pamphlet (@Pamphlet_in) August 15, 2023

औपनिवेशीकरण को जितना श्रेय जाति और वर्ण व्यवस्था पर समाज को बांटने के लिए दिया जाता है उतना ही पारिवारिक संस्था को समाप्त करने के लिए भी दिया जाना चाहिए। मूल सभ्यता को समाप्त करना ही उपनिवेशिकता की नींव रही है। भारतीय सभ्यता की जिजीविषा ही समझिए की अन्य उपनिवेश रहे देशों से इतर आज भी किसी न किसी स्वरूप में हमारी मूल संस्कृति विद्यमान है और उसके पुनरुत्थान के प्रयास किए जा रहे हैं।

विउपनिवेशीकरण की प्रक्रिया सभ्यता के पुनरुत्थान के बिना संभव नहीं है। इसमें इतिहास और संस्कृति को बढ़ावा देने के साथ ही जरूरी है कि हमारी संस्थाओं को मजबूत किया जाए और उन्हें उनके मूल स्वरूप में स्वीकार किया जाए। पारिवारिक संस्था भी इन्हीं में से एक है। प्रधानमंत्री द्वारा लाल किले से परिवारजनों का आह्वान महज शुरुआत है। इसपर अब वाद-विवाद और चर्चाएं सामने आएंगी। यह भी सामने आएगा कि क्यों भारत आज भी पश्चिमी प्रकृति और मूल्यों पर अपने समाज की रूप-रेखा खींच रहा है।

भारत में पारिवारिक ईकाई के रूप में संयुक्त परिवार समाज का मजबूत आधार रहा है। संयुक्त परिवार की संस्था ने सामाजिक संतुलन के साथ ही सुरक्षा और न्याय को सुनिश्चित किया है। क्या यही कारण नहीं है कि आज जब एकल परिवार की संख्या में बढ़ोतरी हो रही है तो देश में सामाजिक सुरक्षा में कमी देखी जा रही है? एक सर्वे के मुताबिक वर्ष 2022 में भारतीय घरों में एकल परिवारों की संख्या 50% हो गई जो कि 2008 में 34% के आस-पास थी। एकल परिवार में बढ़ोतरी का असर आर्थिक विकास और संसाधनों की खपत पर भी पड़ता ही है। संभवत औपनिवेशिकवाद के तहत पारिवारिक संस्था को समाप्त करने के पीछे यह भी एक धारणा रही होगी।

दरअसल नए भारत की तस्वीर उस मूल भारत से निकलती है जिसे औपनिवेशीकरण ने चोट पहुँचाई है। भारतीय पारिवारिक ईकाई इसका सबसे बड़ा उदाहरण है। देशवासियों को परिवार में बांधकर प्रधानमंत्री ने यह जिम्मेदारी सुनिश्चित कर दी है कि विउपनिवेशीकरण की प्रकिया में सभी सहयोग से काम करे। आजादी के अमृतकाल में बात परिवार, न्याय और विश्वनीति की हो तो जरूरी है कि देश अपनी मूल संस्थाओं के लिए जागृति कार्यक्रम चलाना भी आरंभ करे। आखिर औपनिवेशीकरण के लिए सबसे बड़ा दुस्वपन संस्कृति का पुनरुत्थान ही है। 

यह भी पढ़ें -प्रधानमंत्री मोदी ने अगले कार्यकाल के लिए माँगा देशवासियों से आशीर्वाद

Author

  • Pratibha Sharma
    Pratibha Sharma

    View all posts

Featured Independence Day PM Narendra Modi
Share. Facebook Twitter LinkedIn Email
Pratibha Sharma

Related Posts

भारत के मैन्युफैक्चरिंग और उपभोक्ता बाजार में बढ़ी जापान की पहुँच, आर्थिक सहयोग में आई तेजी

December 9, 2023

पश्चिम बंगाल : मुर्शिदाबाद अस्पताल में 24 घंटे में 9 नवजात शिशुओं की मौत, जांच के आदेश

December 8, 2023

AI Summit 2023: प्रधानमंत्री मोदी ने किया ग्लोबल पार्टनर्स को आमंत्रित, एआई के सकारात्मक प्रभाव पर दिया जोर

December 8, 2023

पंजाब : ड्रग्स और शराब के बाद अब नशामुक्ति दवाओं का चस्का, नशा करने वालों की संख्या 8 लाख के पार

December 7, 2023

‘मोदी जी’ कहकर मुझे जनता से दूर ना करें: पीएम मोदी की पार्टी कार्यकर्ताओं से अपील

December 7, 2023

कर्नाटक: ISIS समर्थकों के साथ मंच पर सीएम सिद्धारमैया, भाजपा नेता CT रवि ने की NIA जांच की मांग

December 7, 2023
Add A Comment

Leave A Reply Cancel Reply

Don't Miss
आर्थिकी

भारत के मैन्युफैक्चरिंग और उपभोक्ता बाजार में बढ़ी जापान की पहुँच, आर्थिक सहयोग में आई तेजी

December 9, 20235 Views

वैश्विक प्रतिकूल परिस्थितियों के बावजूद जापान और भारत ने 2022-23 में द्विपक्षीय आर्थिक जुड़ाव को मजबूत किया है।

पश्चिम बंगाल : मुर्शिदाबाद अस्पताल में 24 घंटे में 9 नवजात शिशुओं की मौत, जांच के आदेश

December 8, 2023

AI Summit 2023: प्रधानमंत्री मोदी ने किया ग्लोबल पार्टनर्स को आमंत्रित, एआई के सकारात्मक प्रभाव पर दिया जोर

December 8, 2023

पंजाब : ड्रग्स और शराब के बाद अब नशामुक्ति दवाओं का चस्का, नशा करने वालों की संख्या 8 लाख के पार

December 7, 2023
Our Picks

‘मोदी जी’ कहकर मुझे जनता से दूर ना करें: पीएम मोदी की पार्टी कार्यकर्ताओं से अपील

December 7, 2023

सौगत रॉय जी, देश की अखंडता ‘राजनीतिक स्लोगन’ नहीं बल्कि लोकतंत्र की आवाज है

December 7, 2023

भारी विरोध के बाद गोमूत्र के ताने पर डीएमके सांसद सेंथिलकुमार ने मांगी माफी

December 6, 2023

सनातन के अनुयायियों ने उदयनिधि स्टालिन की राजनीतिक जमीन हिला दी है

December 5, 2023
Stay In Touch
  • Facebook
  • Twitter
  • Instagram
  • YouTube

हमसे सम्पर्क करें:
contact@thepamphlet.in

Facebook X (Twitter) Instagram YouTube
  • About Us
  • Contact Us
  • Terms & Conditions
  • Privacy Policy
  • लोकप्रिय
  • नवीनतम
  • वीडियो
  • विमर्श
  • राजनीति
  • मीडिया पंचनामा
  • साहित्य
  • आर्थिकी
  • घुमक्कड़ी
  • दुनिया
  • विविध
  • व्यंग्य
© कॉपीराइट 2022-23 द पैम्फ़लेट । सभी अधिकार सुरक्षित हैं।

Type above and press Enter to search. Press Esc to cancel.